28 अगस्त को 4 फीसदी की और बढ़त के साथ ₹52.80 प्रति शेयर के दिन के हाई लेवल को छू लिया. स्टॉक में ये तेजी गिरावट के दौर में देखने को मिली है. यह तेजी कंपनी के जरिए अपने जनरेशन 3 स्कूटर पोर्टफोलियो के लिए प्रोडक्शन लिंक्ड इंसेंटिव (PLI) सर्टिफिकेशन हासिल करने की घोषणा के बाद आई है. पिछले 3 सेशन्स में, शेयर में 12 फीसदी का इजाफा देखने को मिला है.
सर्टिफिकेशन मिला
ओला इलेक्ट्रिक को अपने जनरेशन 3 (Gen 3) स्कूटर लाइनअप के लिए प्रोडक्शन लिंक्ड इंसेंटिव (PLI) सर्टिफिकेशन प्राप्त हो गया है. इससे कंपनी 2028 तक निर्धारित बिक्री मूल्य (DSV) के 13 से 18 फीसदी तक के इंसेंटिव के लिए योग्य हो गई है. कंपनी ने बताया कि यह पुरस्कार उसकी इनपुट स्ट्रक्चर और मार्जिन को सीधे मजबूत करेगा, जिससे वह EBITDA पॉजिटिव बनने की दिशा में काम कर सकेगी.
Gen 3 लाइनअप में S1 Pro 3 kWh, S1 Pro 4 kWh, S1 Pro+ 4 kWh, S1 X 2 kWh, S1 X 3 kWh, S1 X 4 kWh, और S1 X+ 4 kWh शामिल हैं, जो कि ओला इलेक्ट्रिक की वर्तमान बिक्री का अधिकांश हिस्सा हैं. इस सर्टिफिकेशन से कंपनी के लाभ में कारोबारी साल 2026 की दूसरी तिमाही से महत्वपूर्ण ग्रोथ होने की उम्मीद है.
नए मॉडल्स पेश किए
‘संकल्प’ सालाना कार्यक्रम में कंपनी ने नए मॉडल्स भी पेश किए, जिनमें S1 Pro Sport (5.2 kWh और 4 kWh वेरिएंट), S1 Pro+ (5.2 kWh), और Roadster X+ (9.1 kWh) शामिल हैं, जो 4680 भारत सेल की ओर से ऑपरेट है.
S1 Pro Sport की डिलीवरी जनवरी 2026 से शुरू होगी, जबकि S1 Pro+ 5.2 kWh और Roadster X+ 9.1 kWh मॉडल नवरात्रि से उपलब्ध होंगे.
फाउंडर और चेयरमैन भावीश अग्रवाल ने ओला इलेक्ट्रिक की डवलेपमेंट स्ट्रैटेजी भी बताई, जिसमें भारत के दोपहिया इलेक्ट्रिक वाहन बाजार में 25-30 फीसदी हिस्सेदारी का लक्ष्य है. इसके लिए कंपनी वर्टिकल इंटीग्रेशन और उत्पाद पाइपलाइन विस्तार की योजना बना रही है.
नतीजों में घाटा
इस सर्टिफिकेशन के साथ, ओला इलेक्ट्रिक ने जून क्वार्टर में उम्मीद से बेहतर प्रदर्शन किया. कंपनी ने पहली तिमाही में ₹428 करोड़ का एडजस्टेड नेट घाटा दर्ज किया, जो पिछले चौथी तिमाही के ₹870 करोड़ और पहली तिमाही 2025 के ₹347 करोड़ घाटे से बेहतर है. कमाई में गिरावट आई, जो ₹828 करोड़ तक पहुंच गई, जो पहली तिमाही 2025 के ₹1,644 करोड़ की तुलना में करीब 49.6 प्रतिशत कम है.
शेयर मूल्य की स्थिति
अगस्त में ही ओला इलेक्ट्रिक के शेयर में करीब 27 फीसदी की ग्रोथ हुई है, जबकि जून और जुलाई में क्रमश 15.3 फीसदी और 4.3 फीसदी की गिरावट आई थी. 2025 की शुरुआत से अब तक शेयर 38 फीसदी से अधिक नीचे हैं, और पिछ्ले एक साल में निवेशकों की संपत्ति में 59 फीसदी से अधिक की कमी आई है. पिछले साल अगस्त में यह शेयर ₹181 के 52-वीक ऑल टाइम हाई पर था, जबकि इस साल जुलाई में ₹39.58 के 52-सप्ताह निचले स्तर को छुआ.
Source: CNBC