Jane Street पर सेबी की बड़ी कार्रवाई: CNBC-आवाज़ की मुहिम लाई रंग, ₹4843 करोड़ जब्त

भारतीय शेयर बाजार में गड़बड़ी को लेकर अमेरिकी ट्रेडिंग दिग्गज Jane Street Group पर सेबी (SEBI) ने बड़ा शिकंजा कसा है. CNBC-आवाज़ की 24 अप्रैल 2024 को शुरू की गई विशेष मुहिम के बाद अब इसका असर साफ नजर आ रहा है. सेबी ने Jane Street और उससे जुड़ी इकाइयों पर भारतीय शेयर बाजार में कारोबार करने पर प्रतिबंध लगा दिया है और ₹4,843 करोड़ की अवैध कमाई जब्त करने का आदेश दिया है.

आपको बता दें कि जेन स्ट्रीट एक ऐसी ग्लोबल ट्रेडिंग फर्म है जो अपने प्रॉपराइटरी ट्रेडिंग कारोबार और क्लाइंट ट्रेडिंग गतिवि​धियों को बढ़ाने के लिए नए क्वांटीटेटिव एनालिसिस का लाभ उठाती है.
न्यूयॉर्क में व्यापारियों और टेक्नॉलजी विशेषज्ञों की एक टीम ने वर्ष 2000 में इसे शुरू किया था. ये कंपनी दुनिया भर में पांच कार्यालय हैं. इनमें 3,000 पेशेवरों को रोजगार मिला हुआ है.

यह फर्म एक्सचेंज-ट्रेडेड फंड (ईटीएफ) में अपनी विशेषज्ञता के लिए मशहूर है और ग्लोबल इक्विटी, बॉन्ड और ऑप्शंस बाजारों की बड़ी खिलाड़ी है.
क्या है मामला
सेबी ने अपने अंतरिम आदेश में कहा कि Jane Street की ग्रुप इकाइयों ने भारतीय इंडेक्स और डेरिवेटिव्स मार्केट में गैरकानूनी तरीके से भारी मुनाफा कमाया.ये कमाई मार्केट मैनिपुलेशन के जरिए हुई और इससे भारतीय बाजार की पारदर्शिता और निष्पक्षता को नुकसान पहुंचा.
जेन स्ट्रीट के ​खिलाफ सेबी की जांच डेरिवेटिव कारोबारियों का नुकसान कम करने के प्रयासों का हिस्सा. एनएसई ने जेन स्ट्रीट जैसे हाई-फ्रीक्वेंसी ट्रेडरों की ओर से किए गए खास सौदों को पकड़ा था, जिनमें बाजार भाव से बहुत ज्यादा अधिक या कम कीमत पर सौदों का उलटना पलटना शामिल था.
SEBI के आदेश की अहम बातें
Jane Street Group की इकाइयां अब भारतीय शेयर बाजार में कोई भी लेन-देन नहीं कर सकेंगी, चाहे वह डायरेक्ट हो या इनडायरेक्ट.

₹4,843 करोड़ की कथित अवैध कमाई को जब्त (impound) करने का आदेश.ग्रुप की सभी कंपनियों को एक एस्क्रो अकाउंट खोलने का निर्देश दिया गया है, जिसमें यह रकम जमा करनी होगी.
जिन बैंकों में Jane Street की कंपनियों के खाते हैं, उन्हें आदेश दिया गया है कि SEBI की अनुमति के बिना कोई भी निकासी न होने दें.
CNBC-आवाज़ की भूमिका
इस पूरे मामले में सबसे महत्वपूर्ण बात यह है कि CNBC-आवाज़ ने 24 अप्रैल 2024 को सबसे पहले इस गड़बड़ी का पर्दाफाश किया था.
चैनल की ओर से लगातार इस मुद्दे को उठाया गया, जिससे सेबी ने जांच शुरू की और अब यह बड़ी कार्रवाई हुई है.
क्यों मायने रखता है ये मामला
Jane Street एक ग्लोबल हाई-फ्रिक्वेंसी ट्रेडिंग फर्म है, जो दुनिया भर के बाजारों में ट्रेड करती है. लेकिन सेबी के अनुसार, इसने भारत में ऐसे तरीके अपनाए जिससे न केवल अन्य निवेशकों को नुकसान हुआ, बल्कि बाजार की साख को भी झटका लगा.
यह आदेश दर्शाता है कि भारतीय रेग्युलेटर अब विदेशी संस्थानों के खिलाफ भी कड़ा रुख अपना रहा है यदि वे भारतीय बाजार के नियमों का उल्लंघन करते हैं.
आगे क्या?
सेबी का यह आदेश अंतरिम (interim) है, यानी आगे इस पर अंतिम सुनवाई और फैसला होगा. लेकिन इतनी बड़ी रकम जब्त करना और बाजार से प्रतिबंधित करना अपने आप में एक सख्त उदाहरण है.
कुल मिलाकर-Jane Street पर SEBI की यह कार्रवाई एक बड़ा चेतावनी संकेत है उन सभी विदेशी संस्थाओं के लिए जो भारतीय बाजार में अनियमित गतिविधियों के जरिए मुनाफा कमाने की कोशिश करती हैं. CNBC-आवाज़ की पत्रकारिता और सख्त रेग्युलेटर की कार्रवाई ने एक बार फिर साबित कर दिया है कि बाजार में अब जवाबदेही और पारदर्शिता से समझौता नहीं होगा.

Source: CNBC